RBI New Cheque Clearance Rule: अगर आपने कभी चेक से भुगतान किया है तो आपको पता होगा कि चेक क्लियर होने में दो से तीन दिन लग जाते हैं। इस दौरान बार बार खाते में बैलेंस चेक करना पड़ता है और पैसा आने का इंतजार भी लंबा होता है। लेकिन अब रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया यानी आरबीआई ने ग्राहकों को बड़ी राहत दी है। नए नियम लागू होने के बाद चेक क्लियरिंग का समय बेहद कम हो जाएगा और पैसा आपके खाते में कुछ ही घंटों में आ जाएगा।
RBI का नया नियम क्या है
आरबीआई ने चेक क्लियरेंस प्रक्रिया को पूरी तरह बदलने का ऐलान किया है। पहले चेक ट्रंकेशन सिस्टम में चेक को दिन में एक बार बैच के रूप में प्रोसेस किया जाता था जिससे कम से कम एक से दो दिन लगते थे। लेकिन अब यह प्रक्रिया Settlement on Realization में बदल दी जाएगी। इसमें चेक को स्कैन करके तुरंत इलेक्ट्रॉनिक रूप से भेजा जाएगा और पूरे दिन लगातार प्रोसेस होता रहेगा। इसका मतलब यह है कि सुबह 10 बजे से शाम 4 बजे तक बैंक लगातार चेक क्लियर करेंगे और ग्राहक को पैसा उसी दिन मिल जाएगा।
कब से लागू होगा नया सिस्टम
यह नियम 4 अक्टूबर 2025 से लागू होगा। इसे दो चरणों में लागू किया जाएगा। पहले चरण में चेक देने के बाद बैंक को उसी दिन शाम 7 बजे तक यह बताना होगा कि चेक स्वीकार किया गया है या अस्वीकार। यदि बैंक समय पर जवाब नहीं देता है तो चेक को स्वीकृत मान लिया जाएगा और उसी आधार पर निपटान कर दिया जाएगा। दूसरा चरण 3 जनवरी 2026 से शुरू होगा। इस चरण में नियम और सख्त हो जाएंगे। बैंकों को हर चेक की पुष्टि केवल तीन घंटे के भीतर करनी होगी।
ग्राहकों को मिलेगा क्या फायदा
इस बदलाव से सबसे ज्यादा फायदा आम लोगों को होगा। पहले जहां चेक जमा करने के बाद कई दिन इंतजार करना पड़ता था वहीं अब यह पैसा कुछ घंटों में खाते में पहुंच जाएगा। आरबीआई ने साफ किया है कि क्लियरेंस के बाद एक घंटे के भीतर ग्राहक के खाते में राशि ट्रांसफर करना अनिवार्य होगा। अगर सुबह चेक जमा किया गया है तो उसी दिन दोपहर या शाम तक पैसा आपके खाते में आ जाएगा। इससे ग्राहकों का समय बचेगा और परेशानी भी कम होगी।
बैंकों के लिए जरूरी निर्देश
आरबीआई ने बैंकों को यह भी आदेश दिया है कि वे ग्राहकों को इस नई व्यवस्था के बारे में समय पर जानकारी दें और उन्हें पूरी प्रक्रिया समझाएं। बैंकों को यह सुनिश्चित करना होगा कि वे तय समय से पहले नई तकनीक और सिस्टम के लिए पूरी तरह तैयार हों। ग्राहक को भी यह ध्यान रखना होगा कि चेक भरते समय कोई गलती न हो और हस्ताक्षर बिल्कुल साफ हों क्योंकि अब प्रोसेसिंग तेज होगी और छोटी सी गलती पर भी चेक तुरंत बाउंस हो सकता है।
क्या है सीटीएस सिस्टम
सीटीएस यानी चेक ट्रंकेशन सिस्टम एक इलेक्ट्रॉनिक व्यवस्था है। इसमें चेक की इमेज और उससे जुड़ी जानकारी इलेक्ट्रॉनिक रूप से बैंक तक भेजी जाती है। इससे धोखाधड़ी की संभावना घटती है और प्रोसेसिंग भी तेज होती है। अब इसी सिस्टम को और ज्यादा एडवांस बनाकर रियल टाइम के करीब लाया जा रहा है जिससे चेक कुछ घंटों में ही क्लीयर हो सकेगा।